ड्रामेबाज विधायक की होगी सच्चाई उजागर-संक्षिप्त विवरण ,डिप्टी सीएम के संरक्षण मे जमाया है भौकाल-जिले में है आतंक

 ड्रामेबाज विधायक की होगी सच्चाई उजागर-संक्षिप्त विवरण ,डिप्टी सीएम के संरक्षण मे जमाया है भौकाल-जिले में है आतंक 

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👉  सही खबर चलाने पर पत्रकार पर लिखाया रात 12 बजे मुकदमा, भूमाफिया विधायक के कारनामों की कब होगी जांच l


👉 सूत्रों की माने तो विधायक बनने के बाद तमाम जमीने खुद के तथा परिजनों एवं सहयोगियों के नाम कराया सैकड़ों रजिस्ट्री..


👉 अ0नं0 117 चारागाह मे बिरई की रजिस्ट्री में लिखाया गलत चौहद्दी, स्टाम्प की किया चोरी ।


*( पत्रकारों से अपने पक्ष में खबर चलवाने कि करता है अपेक्षा, सच्ची खबर चलाने पर करता है विरोध,पत्रकारों पर लिखाता है मुकदमा ।

 तिकड़मबाज विधायक की सारी गणित होगी फेल, सत्ता से हटने के बाद जाएगा जेल, मीडिया करेगी इसके काले कारनामों का खुलासा )*


सुभाष तिवारी लखनऊ

कौशाम्बी । चायल भाजपा विधायक संजय गुप्ता के भ्रष्टाचार एवं भू माफिया के तौर पर तमाम गरीबों और सरकारी जमीन कब्जा करने के मामलों मे हमेशा विवादों में रहे हैं । इन्होने तमाम सरकारी जमीन जिसमें ताला भी नंबर वाह चारागाह आदि का मामला सुर्खियों में रहा है । परसरा गांव मे आराजी नंबर 117 चारागाह में बिरई पुत्र ननका से डरा धमकाकर 4 बीघा जमीन दिनांक 18 मई 2018 को डीएम के यहां से परमीशन कराकर ले लिया है । वाद संख्या 77 ,कंप्यूटर वाद सं0 डी-201802 420000338 सन 2018 है । उसकी कुल जमीन 4 बीघा थी इस पर विधायक की नजर थी क्योंकि वह इनके स्कूल की करीब कीमती थी जो रोड से लगी हुई थी । उसकी जमीन संजय गुप्ता ने रजिस्ट्री करा कर उसे पैसे दिए और इसके बदले में 2 बीघा अपनी जमीन चंदीपुर में उसके नाम रजिस्ट्री किया है । दलितों की जमीन खरीदने के लिए संजय गुप्ता ने अपने एक करीबी एस0सी फकीरे को रखा है जिसके नाम बेनामी संपत्ति लिखवाता है इसी प्रकार और भी कई लोग हैं जिनके नाम बेनामी संपत्ति लिखवाई गई है, यह जांच का विषय है ।


बता दें कि परसरा गांव निवासी बिरई पासी की जमीन में संजय गुप्ता ने 2018 मे रजिस्ट्री कराया है जिसमें चौहद्दी भी गलत लिखायी है । रजिस्ट्री में इन्होंने जो लिखाया है वह है...

पूरब -आराजी संख्या 126 दिखाया है जो गलत है, जब दक्षिण में है ,जबकि सच बात यह है कि पूरब मे आराजी संख्या 96 है । उन्होंने पश्चिम में आराजी संख्या 117 का जुज भाग चारागाह दिखाया है जबकि इसमें गिरसा सड़क है । उत्तर में पुरानी पीडब्लूडी सड़क थी उसके बाद मंझनपुर मूरतगंज हाईवे रोड दिखाया है और दक्षिण में आराजी संख्या 125 दिखाया है जो गलत है । सच बताएं तो आराजी संख्या 124 है और इस नंबर की जमीन को भी संजय गुप्ता ने निहालचंद से खरीद रखा है । इस तरह से देखा जाए तो इस रजिस्ट्री की चौहद्दी भी गलत दिखाई गई है । आराजी नंबर 125 कुल रकबा 3 बीघा 10 बिसुवा है । इसमें इन्होंने डेढ बीघा खरीदा है । जिसमें रमेश पंडित से 1 बीघा अपने भाई सुभाष केसरवानी और दिलीप सरोज से 10 बिस्वा अपने करीबी एस0सी फकीरे के नाम खरीदा है । अर्थात कुल डेढ़ बीघा संजय गुप्ता ने अपने भाई सुभाष और फकीरे के नाम रजिस्ट्री करवाई है ,जबकि अभी 2 बीघा सरकारी जमीन शेष बची है और यह भी इनके कब्जे में है । देखा जाए तो फकीरे के नाम विधायक बहुत ढेर सारी बेनामी संपत्ति लिखा रखा है ।


इसी प्रकार आराजी नंबर 126 रकबा 1 बीघा 13 बिस्वा था इसमें भी संजय गुप्ता ने कुछ भाग निहालचंद, ज्ञानचंद ,बलदेव ,रमेश ,शरद, अनंत लाल आदि से खरीदा है ।

इसके अलावा आराजी संख्या 24 रकबा 6 बिस्वा निहालचंद, राजाराम आदि से इन्होंने खरीदा है ।

इसी तरह आराजी संख्या 124 रकबा 6 बिसुवा निहालचंद ,राजाराम आदि से खरीदा है ।


अब बता दें कि जो विधायक एसडीएम से पिछले वर्ष अपनी जमीन की पैमाइश की बात करते हैं वह हीरालाल दलित की जमीन कब्जा करते वक्त मुद्दा उठा था । उस समय इन्होंने पैमाइश कराई थी ।

बता दें कि आराजी नंबर 96 जो कुल 17 बीघा 2 बिस्वा है का नक्शा है । इस नक्शे के अंदर पांच अन्य नं0 भी समाहित है । जो क्रमसः अ0नं0 97,98 ,99,100, 101 है । इन पांचों आराजी में क्रमशः निहालचंद का 1 बिसुवा, जगजीत का 4 बिसुवा, राम सजीवन का 2 बिसुवा , जगजीत का 5 बिसुवा , राम सजीवन का 4 बिसुवा जमीन है । आराजी नं0 89 में ही धर्मपाल की भी 2 बीघा जमीन थी जो एक बीघा उसने बेंच दिया था, एक बीघा बाकी है ,जो उसके मरने के बाद उसके लड़के हीरालाल आदि के नाम वरासत दर्ज है । उनकी भी जमीन विधायक ने कब्जा कर रखी है । जमीन में कुछ भाग पीडब्ल्यूडी के रोड में चली गई 14 बिस्वा अभी बाकी है । इसको विधायक संजय गुप्ता अक्टूबर 2021 पिछले वर्ष कब्जा कर रहे थे जो मीडिया में सुर्खियों में छाया रहा है । यह आरोप लगने के बाद ही विधायक ने दिनांक 9/10/ 2020 को पत्र सं0 एमएलए/ 5380 एसडीएम चायल को लिखकर अपनी जमीन आराजी संख्या 89 की पैमाइश कराई है । जिसमें इनकी 5 बीघा जमीन बताई गई है जो 2003 में रजिस्ट्री बताएं है । इसमें पुरानी सड़क पहले थी और अब नई सड़क का भी जिक्र है ।


अब मजेदार बात यह है कि जब आराजी संख्या 117 चारागाह का मुकदमा अंकुर रस्तोगी बनाम संजय गुप्ता के नाम से कमिश्नरी में दिनांक 24 अगस्त 2018 से वाद संख्या 01960/2018 उत्तर प्रदेश रा0 सं0 2006 के तहत चल रहा है । जब यह मुकदमा कमिश्नरी प्रयागराज मे चल रहा है तो कैसे विधायक संजय गुप्ता ने बिरई से खरीदी गई इस जमीन को एसडीएम चायल के यहां से धारा 80 के तहत कैसे कमर्शियल (आकृषक) कराया गया है जो जांच का विषय है ।


बता दें कि विधायक संजय गुप्ता ने जो अ0सं0 117 मे रजिस्ट्री कराई है उसमें भी स्टाम्प चोरी किया है, क्योंकि बिरई से खरीदी गई जमीन में महुआ का पेड़ था और सड़क पर उसका एक कमरे का पक्का मकान भी बना हुआ था ,जिसे रजिस्ट्री में छुपाया गया है ।


इसी तरह बताया जाता है कि आराजी संख्या 114 में लगभग 1बीघा 4 बिसुवा रमेश पांडे, राजनारायन पांडे आदि से जमीन विधायक ने खरीदा है । सूत्रों की माने तो विधायक संजय गुप्ता के परसरा केपीएस कैंपस कालेज में जो हॉस्टल है वह भी सरकारी जमीन में निर्मित है । विद्यालय में सैकड़ों ए0सी लगी हुई है जिसमें बिजली चोरी का भी कई बार सामने मुद्दा उठा है ।


सूत्रों की माने तो चायल विधायक संजय गुप्ता ने रचना सरोज की जमीन जो परसरा चौराहा सड़क पर करोडो की है उसे जबरन कब्जा कर रहे थे । जिसमें पत्रकार अमरनाथ झा के दखल के बाद निर्माण तो रुक गया है लेकिन आज भी उसकी जमीन पर विधायक ने अपने लोगों द्वारा ईंट की कुरिया डाल कर कब्जा कर रखा है । विधायक ने उसको 10 लाख में जमीन बेचने का दबाव बनाया, जब वह जमीन नहीं बेंची तो जबरन कब्जा करा रहे थे । इस मामले में जब अमरनाथ झा ने दिनांक 26 दिसंबर 2020 को इनसे मोबाइल पर बात की तो पहले तो यह आनाकानी करते रहे लेकिन बाद में रचना की जमीन दिलाने की बात करने लगे । इन्होंने मोबाइल से दिनांक 11 जनवरी 2021 एवं कई बार इन्होंने रचना की जमीन दिलाने की बात करते रहें हैं । यहां तक कि इन्होंने एक मोबाइल गिफ्ट करनेे की भी बात कही है कि लखनऊ जा रहे हैं वहां से खरीद कर लाएंगेेे और गिफ्ट करेंगे । फिलहाल इन्होंने मोबाइल तो गिफ्ट नहीं किया लेकिन पत्रकार को मोबाइल मांगनेे के नाम पर और ब्लैकमेलर कहकर बदनाम जरूर किया है ।


अमरनाथ झा ने जब दिनांक 8 दिसंबर 2021 को विधायकों के टिकट कटने एवं संजय गुप्ता का चायल क्षेत्र में जनता का विरोध की खबर चला दी तो विधायक आग बबूला हो गया  । जो व्यक्ति इनके गलत कार्यों का विरोध करता है तो उस पर यह कार्रवाई करवाते है,यदि किसी पार्टी का व्यक्ति इनके कारनामों को उठाता है तो वह विपक्षी है । अभी हाल ही में काजूूू ग्राम सभा मे इनका बिरोध लोगों ने किया , भरवारी के चमंधा गांव मे इनका विरोध हुआ । जब खबर चला दिया गया तो नाराज हो गए और पत्रकार अमरनाथ झा को धमकी तक दे डाली है ।


पत्रकार इनके गलत कार्यो की खबर चला कर विरोध किया तो अब यह दुनियां भर का झूठा आरोप- प्रत्यारोप, ब्लैकमेलर आदि तमाम आरोप लगाने लगे । जो पत्रकार इनके कहने के मुताबिक मनमानी इनकी खबर निकाले तो उससे यह खुश रहते हैं और जो इनकी सच्चाई उजागर करें तो उस पर यह दुनियां भर का आरोप लगाकर उसे बदनाम करने की कोशिश करते हैं । हमेशा यह बताते फिरते हैं कि यह विपक्षियों से मिले हुए हैं आदि जो इनके मन में आता है यह अलापते रहते हैं। इनकी तमाम ऑडियो रिकॉर्डिंग के साक्ष्य सभी मौजूद है ।


इतना ही नहीं इन्होंने अपने विद्यालय कैंपस में सरकारी जमीन आराजी नंबर 89 में जो हडवारी 1 बीघा है उसको तथा तालाबी नंबर 95 एक बीघा 17 बिस्वा, व आराजी नंबर 127 तालाब 6 बीघा 3 बिस्वा तथा आराजी नंबर 90 तालाब 4 बिगहा का कुछ भाग भी कब्जा कर रखे हैं,जो जांच का विषय है ।


लोगों में इस बात की चर्चा है कि विधायक संजय गुप्ता ने 10 साल में ऐसी कौन सा पैसा कमाने के पेड़ की मशीन लगा रखा है जो अरबों का साम्राज्य खड़ा कर लिया है । देखा जाए तो असवां से लेकर परसरा के आगे पेट्रोल पम्प तक रोड के चारों तरफ हाइवे मे आजू-बाजू उन्होंने काफी लोगों को जमीन हड़प करके, दबाव बनाकर कब्जा कर लिया है । अपने नाम, परिजनों एवं अपने सहयोगियों के नाम बेनामी संपत्ति और आय से अधिक संपत्ति बना रखी है । 20 साल पहले भरवारी मे ननकी देवी जूनियर हा0 स्कूल चलाने वाला है यह व्यक्ति जो पहले बीसीआर चलाने वाला एक व्यक्ति कैसे अरबों का मालिक बन गया । इसके बारे में जानना चाहते हैं कौशांबी की जनता और यदि यह अपने आप को बहुत बड़े बिजनेसमैन बताते हैं तो इनका पैन कार्ड और आटीआर 20 साल का चेक कराया जाए,अपने आप सच्चाई उजागर हो जाएगी । फिलहाल जिले की जनता लोकायुक्त से इनके तमाम भ्रष्टाचार एवं आय से अधिक व बेनामी संपत्ति की जांच कराने की मांग उठा रही है । इन्होंने चायल क्षेत्र की जनता के बहुत से लोगों का साथ अन्याय किया है, उनकी जबरन जमीनें अपने लोगों को कब्जा कराया है,बहुत से लोगों पर झूठे मुकदमे लिखवाए हैं । इन्होंने विधायक निधि को मनमानी तरीके से अपने चाहेतो में और कमीशन खोरी करके बांटा है जिसकी जांच होनी आवश्यक है ।

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