सनातन संस्कृति का द्योतक है भारतीय नववर्ष* -------------------- *विकास राज*

 *नववर्ष समारोह समिति बांसवाड़ा*

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*ललित गोलेछा की रिपोर्ट*-*

*सनातन संस्कृति का द्योतक है भारतीय नववर्ष*

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कुशलगढ़ 29 मार्च

 बांसवाड़ा । चैत्र शुक्ल प्रतिपदा भारतीय संस्कृति का नव वर्ष 2 अप्रेल से प्रारंभ हो रहा है । इसी को लेकर नगर में विभिन्न बैठकों का आयोजन किया जा रहा है। इसी क्रम में बांसवाड़ा के लगभग सो समाजों की बैठक भारत माता मंदिर हुई।

          इस बैठक में सर्व समाज की उपस्थिति रही इस अवसर पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के विभाग प्रचारक विकास राज ने चारों युगों का वर्णन करते हुए इस कलयुग में संगठन की महत्ता को समझाते हुए कहा कि भारतीय नववर्ष का यह शुभारंभ हम संपूर्ण सनातनी समाज को एक सूत्र में बांधने से प्रारंभ हो रहा है । 

    राज ने काल गणना के आधार पर भारतीय संस्कृति के इस नववर्ष की आध्यात्मिक और वैज्ञानिक अवधारणा की सविस्तार बताते हुए विवेचना की ।

     विकास राज ने कहा कि वर्तमान समय संघे शक्ति कलौयुगे के आधार पर ही चलने का है। इसलिए सनातनी समाज को हिन्दू होने का गर्व अनुभव करते हुए नववर्ष को मनाना चाहिए ।

     बैठक में उन्होंने समाज का आह्वान किया की भारतीय संस्कृति के अभ्युदय का यह अवसर हमें प्राप्त हुआ है इसलिए नव वर्ष को भव्य और दिव्य बनाने में प्रत्येक समाज का योगदान चाहिए ।

       बैठक में विभिन्न समाज के बंधुओं ने नव वर्ष को भव्य दिव्य बनाने के लिए अनेक सुझाव दिए जिसे समिति ने स्वीकार किया किया।

      बैठक संचालन कर्ता भुवन पंड्या ने आयोजित कार्यक्रम की सम्पूर्ण रचना को बताते हुए बताया की 2 अप्रेल को 3 बजे एतिहासिक कुशलबाग मैदान से शोभायात्रा प्रारंभ होगी। 

        जय गीरिराज सिंह ने उपस्थित समाज का आभार व्यक्त किया।

यह जानकारी डॉ अमित कुमार चौधरी ने दी।

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